NEELAM GUPTA

Add To collaction

लेखनी प्रतियोगिता -27-Dec-2021 दिल्ली की सर्दी

हमारा दिल्ली

अभी तो दिल्ली हिल स्टेशन बना हुआ है।रिमझिम रिमझिम बौछार बुँदो की, ठंडी ठंडी बायर और सर्द दिन और रात का कारण बन गई है।

लगता तो नहीं सुबह खिलखिलाती धूप के दर्शन होंगे। वैसे हम भी कहाँ रजाई से मुँह निकाल कर झांकने वाले है।सूरज चाचा की आजकल छुट्टियां चल रही है  वह भी हिल स्टेशन गए है।धुंध की चादर  दिल्ली को ओढ़ाकर। कि कोई हिलडुल न करें पड़े रहे चुपचाप।

उनकी गैर हाजिरी में ठंड ने अपना सिक्का जमा लिया है।जब सूरज चाचा आकर गुस्से की गर्मी दिखाएंगे तभी सर्दी अपनी चाल धीमे करेंगी। कहते हैं ना बकरे  सर्दी कब तक हमको सताएगी जब सूरज चाचा इसके ऊपर अपनी कुदृष्टि दिखाएंगे, तो सर्दी चुपचाप पतली गली से निकल जाएगी,और धीरे धीरे गर्मी में झुलसता हमें छोड़ जाएगी। ना बाबा ना ऐसी भी गर्मी नहीं चाहिए।

अब तो बस खिलखिलाती धूप का इंतजार है तब दिल्ली का दिल खिलखिलाकर हंसेगा।तब तक बिना खर्च किए सब हिल स्टेशन और पतझड़ का मजा ले।चाहे तो अपनी छुट्टियाँ भी ले ले। लेकिन खबरदार घर में रहकर हमें ना तंग करना है, कभी पकोड़े, कभी मेथी के पराठे 🤣🤣

हम पत्नियों को भी बाहर से खाना आर्डर कर छुट्टियों का अनुभव कराए।जिससे हम भी खिलखिलाकर कर जिंदगी की धूप का मजा ले सके। मजे अकेले अकेले करने में कोई मजा नहीं है। और मिलकर अदरक वाली चाय की चुस्कियां ले।☕☕☕☕☕☕☕☕☕☕☕☕☕☕☕☕


नीलम गुप्ता नजरिया दिल्ली


   12
7 Comments

Seema Priyadarshini sahay

07-Jan-2022 10:31 PM

वाह मैम क्या खूब लिखा

Reply

Shrishti pandey

28-Dec-2021 08:37 AM

Nice One

Reply

Abhinav ji

28-Dec-2021 12:00 AM

अरे वाह बहुत बढ़िया

Reply